सवीना को सता रही बच्चों के परवरिश की चिंता - gidhaur.com : Gidhaur - गिद्धौर - Gidhaur News - Bihar - Jamui - जमुई - Jamui Samachar - जमुई समाचार

Breaking

A venture of Aryavarta Media

Post Top Ad

Post Top Ad

Sunday, 22 October 2017

सवीना को सता रही बच्चों के परवरिश की चिंता

Gidhaur.com (अलीगंज, जमुई) :  इस मासूम चेहरे को देखिये, जिसके भविष्य की नीव दुर्घटनाग्रस्त हो गयी है| कहावत है कि-"होनी को कोई टाल नही सकता" । जो विधाता ने लिख डाला उसे तो जाना ही है सिर्फ कुछ बहाना मिलना चाहिए। कुछ यूँ हुआ शुक्रवार को जिले के अलीगंज प्रखंड के महना गाँव के समीप, जब एक सड़क दुर्घटना में अलीगंज बाजार निवासी मो अख्तर उम्र 30 की मौत हो गई। अब उसकी पत्नी सवीना रो रो कर हाल बेहाल है। सौहर की मौत की खबर मिलते ही सवीना की मानो आवाज ही गूम हो गयी हो। वह सिर्फ अपने तीन माह की मासुम बच्ची की तरफ इशारा कर यह कहना चाह रही थी कि अब इन पाँच बहन व दो भाइयों की परवरिश का बोझ कौन उठायेगा? आने वाले लोग ढाढस बंधाने तो जरूर आते लेकिन कुछ कहने के पहले उनके आखो से भी आंसुओ के धार छलक पड़ती।
बताते चलें कि, मृतक मो. अख्तर को पाँच पुत्री एवं दो पुत्र है। अख्तर अलीगंज बाजार में सड़क किनारे फल सब्जी की फुटपाथी दुकान चलाकर अपने परिवार का भरण पोषण कर रहा था और शुक्रवार को सिकंदरा से ऑटो पर केला लेकर अलीगंज आ रहा था कि अचानक वह घटना घटी और उसकी मौत हो गई। अब उसकी बीबी सवीना को चिंता सताये जा रही है। आखिर वह बेसहारा अब सात मासुम का परवरिश का बोझ किस प्रकार उठा पायेगी। सबसे बड़ी बेटी रजिया खातुन जिसकी उम्र 8वर्ष है और सबसे छोटी बच्ची आइतल प्रवीण मात्र तीन माह की है।जिसे अभी अपने अब्बा के बारे में क्या पता किअब वह खुदा का प्यारे हो गये। सवीना रो रो कर  कहती है कि रोज मेरे सौहर दिन भर फल बेचकर शाम में अपने परिवार का परवरिश करता था अब  मुझे एव मेरे बच्चो को कौन देखेगा? यह यक्ष सवाल हर आने वाले लोगों को जेहन में कौन्ध रहा था,और आने वाले महिला-पुरुष भगवान को कोसते हुए कहते नजर आ रहे थे कि भगवान ने बेचारी पर दुखो का पहाड़ तोड़  दिया। 
हालांकि स्थानीय  बीडीओ द्वारा  पारिवारिक लाभ की राशि ने तो डूबते को तिनके  का सहारा कहावत को चरितार्थ कर दिखाया| 20000 की राशि लेते हुए सवीना की आँखे नाम थी, मानों जैसे बी डी ओ साहब का शुक्रिया अदा कर रही हो | पर अब सवाल यह उठता है कि इस राशि से कितने दिन तक इस फौज के आवश्यकताओं को पुरा किया जा सकेगा ?
(चन्द्रशेखर सिंह)
अलीगंज | 22/10/2017,(रविवार)

Post Top Ad