जमुई/बिहार (Jamui/Bihar), 9 मार्च 2025, रविवार : पर्वतारोहण के क्षेत्र में बिहार का नाम रोशन करने वाली जमुई जिले की साहसी बेटी अनीशा दुबे को उनके पर्वतारोहण में अदम्य साहसिक कार्य के लिए "उत्कृष्ट साहस सम्मान" से नालंदा में सम्मानित किया गया। महाबोधि महाविद्यालय, नालंदा के द्वारा महाविद्यालय के प्रांगण में दिनांक- 8 मार्च (शनिवार) को 'अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस' के उपलक्ष्य में आयोजित सम्मान समारोह उन्हें प्रमाण पत्र, स्मृति चिन्ह एवं अंग वस्त्र देकर नालंदा जिले की विधान परिषद सदस्य एवं सत्तारूढ़ दल की सचेतक वीणा यादव के हाथों उन्हें सम्मानित किया गया।
अंतरराष्ट्रीय महिला दिवस के संदर्भ में अपने वक्तव्य में अनीशा दुबे ने कहा कि मुझे पर्वतारोही बनाने एवं मुझमें साहस भरने का काम मेरी माँ ने किया है। मैं अपनी माँ में नारी शक्ति की झलक देखती हूँ।
ज्ञातव्य है कि पिछले कुछ वर्षों में अनीशा दुबे ने पर्वतारोहण के क्षेत्र में कई कीर्तिमान स्थापित किए हैं। अनीशा ने अपना पहला पर्वतारोहण माउंट पतलसू, हिमालय प्रदेश में 2021 में किया था, जिसकी ऊँचाई लगभग 14000 फीट है। उन्होंने दूसरी चढ़ाई माउंट एवरेस्ट के बेस कैंप में की जो नेपाल में स्थित है। इस पहाड़ की ऊँचाई 17,598 फीट है। जिसकी चढ़ाई उन्होंने 2022 में किया। तीसरा बार पर्वत माउंट डजो जोंगो, लद्दाख में में उन्होंने पर्वतारोहण किया उसकी ऊँचाई 20,500 फीट है। यह कैंप उन्होंने 2023 में किया। इस तरह उन्होंने छोटी उम्र के बावजूद भी अपना साहस लगातार बनाए रखा।
बता दें कि मूल रूप से जमुई के बिहारी गांव की रहने वाली अनीशा का ननिहाल गिद्धौर प्रखंड के रतनपुर पंचायत के सोहजना गांव में है। उनको मिले सम्मान पर उनकी मां मधु दुबे ने कहा कि अनीशा बचपन से ही साहसी रही है। कम उम्र में ही पिता शशिकांत दुबे के स्वर्गवास होने के बाद अनीशा ने परिवार, समाज के साथ साथ पर्वतारोहण में भी डटकर साहस का साथ हर मुसीबत का सामना करते हुए उपलब्धि हासिल की है। वहीं अनीशा के गांव बिहारी और ननिहाल सोहजाना के ग्रामवासियों एवं खेल प्रशंसकों ने उन्हें बधाई दी है।