सोनो : डाॅ. भीमराव अंबेडकर के आदमकद प्रतिमा का हुआ अनावरण - gidhaur.com : Gidhaur - गिद्धौर - Gidhaur News - Bihar - Jamui - जमुई - Jamui Samachar - जमुई समाचार

Breaking

Post Top Ad

Post Top Ad

Responsive Ads Here

रविवार, 2 दिसंबर 2018

सोनो : डाॅ. भीमराव अंबेडकर के आदमकद प्रतिमा का हुआ अनावरण


{सोनो | पंकज कुमार सिंह}:-

बाबा साहब डॉ. भीमराव अंबेडकर ने सदियों से दासता का दंश झेल रहे समाज को संविधान के माध्यम से बादशाहत प्रदान की। आवश्यकता है उनकी कही बातों को आत्मसात करने की । उनके विचारों की अलख जगाए रखने की। बाबा साहब के विचारों का प्रवाह रुके नहीं इसके लिए हम सभी को सजग रहना होगा। रविवार को प्रखंड परिसर स्थित डॉ भीमराव अंबेडकर की आदमकद प्रतिमा के अनावरण समारोह के मौके पर आयोजित समारोह में उक्त बातें अपर पुलिस महानिदेशक, बिहार , एके अंबेडकर ने कही।


उन्होंने कहा कि आप अपने बच्चों को पढ़ाइए और इस बात को गांठ में बांध लीजिए कि आगे बढ़ने के लिए शिक्षा सबसे जरूरी है। उन्होंने अपने संबोधन में 2007 की एक घटना का भी जिक्र किया जब वह जमुई में बतौर एसपी पदस्थापित थे। कहा जब वह चरकापत्थर में छापेमारी अभियान को निकले थे तो वहां के लोगों की गरीबी और बेबसी देख कर उनका मन भर आया। आजादी के इतने साल बाद भी वहां के लोग बुनियादी सुविधाओं से दूर दिखे। अपर पुलिस महानिदेशक ने कहा की सामाजिक समानता व आर्थिक स्वतंत्रता हासिल करने के लिए बाबा साहब के विचारों को खुद के अंदर स्थापित करें। उसे क्रियान्वित करें व उस पर अमल करें। आप सामाजिक समानता व स्वतंत्रता हासिल करने के पात्र तभी हो सकेंगे जब आप शिक्षित होंगे। इससे पूर्व उन्होंने मंच पर उक्त समारोह का दीप जलाकर शुभारंभ किया व बाबा साहब की आदमकद प्रतिमा का अनावरण किया।


» न्याय के लिए संघर्ष करना सीखे - आईजी प्रशिक्षण«

  रविवार को प्रखंड परिसर में एससी - एसटी कर्मचारी संघ द्वारा आयोजित बाबा साहब की आदमकद प्रतिमा के अनावरण समारोह को संबोधित करते हुए आईजी प्रशिक्षण विजय यादव ने कहा कि न्याय के लिए संघर्ष आवश्यक है। उन्होंने कहा कि आधुनिक भारत के निर्माण में डॉ भीमराव अंबेडकर का महती योगदान है। उन्होंने वहां उपस्थित लोगों से अंधविश्वासों से बाहर निकलने की अपील की तथा कहा कि देवी - देवताओं के नाम पर बांटने और लड़ाने का काम होता आया है। इससे दूर रहे ।उन्होंने दलित , शोषित समुदाय को बाबा साहब द्वारा प्रदत्त संवैधानिक अधिकारों को हासिल करने की अपील की। शिक्षित - संगठित होने पर बल दिया।

Post Top Ad