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गिद्धौर : इंटरमीडिएट में दाखिले की प्रक्रिया शुरू, जानिए कब और कैसे होगा एडमिशन


न्यूज़ डेस्क | अभिषेक कुमार झा】:-

बिहार राज्य के सरकारी, गैर सरकारी, संबद्ध तथा एफिलिएटेड लगभग 3200 विद्यालय एवं महाविद्यालयों को मिलाकर 1565812 सीटों पर ऑनलाइन नामांकन को लेकर बिहार बोर्ड ने संकायवार सीटों की घोषणा कर दी है।
बोर्ड ने ओएफएसएस के वेबसाइट पर नामांकन के लिए अधिकृत स्कूल एवं कॉलेजों की सूची डाली है। इस क्रम में जमुई जिले के कुल 58 स्कूल व कॉलेजों में विज्ञान के 10377 , आर्ट्स के 10852, कॉमर्स के 2320 तथा एग्रीकल्चर के लिए 40 सीटों को आवंटित किया गया है।


गिद्धौऱ के किस विद्यालय में कितना सीट

वहीं यदि गिद्धौऱ की बात करें तो इसके अंतर्गत कुल तीन इंटरमीडिएट स्कूल/कॉलेज आते हैं। बोर्ड ने ओएफएसएस के वेबसाइट पर इन तीन विद्यालयों में +2 महाराजा चंद्रचूड़ विद्यामंदिर को विज्ञान में 139, आर्ट्स में 120 सीट एलॉट हुई है। वहीं अखिलेश्वर हाई स्कूल रतनपुर में साइंस संकाय के लिए 120 तथा आर्ट्स संकाय के लिए कुल 177 सीट आवंटित की गई है। प्रखंड अंतर्गत आने वाले हाई स्कूल धोबघट में साइंस तथा आर्ट्स संकाय के लिए बराबर से120 सीट आवंटित की गई है। इस प्रकार गिद्धौऱ प्रखंड के तीन विद्यालयों को मिलाकर कुल 796 सीट पर छात्र-छात्रओं का नामांकन लिया जाएगा।



कॉमर्स और एग्रीकल्चर संकाय में गिद्धौऱ के लिए जगह नहीं

साइंस और आर्ट्स में निर्धारित सीटों के बाद गिद्धौऱ के विद्यार्थी कॉमर्स और एग्रीकल्चर संकाय से वंचित रह गए। इन संकायों में नामांकन को इच्छुक विद्यार्थियों को गिद्धौऱ से बाहर स्कूल/कॉलेजों का चयन कर इसमें दाखिले को लेकर दरवाजा खटखटाना पड़ेगा। गिद्धौऱ के उक्त तीनों इंटरमीडिएट विद्यालयों में कॉमर्स एवं एग्रीकल्चर संकाय उपलब्ध नहीं है।


- 【कब,कहां और कैसे करें आवेदन】 -

मैट्रिक की परीक्षा पास कर चुके विद्यार्थी इंटर में नामांकन के लिए अपने नजदीकी वसुधा केंद्र पर जाकर नियमतः 11 मई तक आवेदन कर सकते हैं। आवेदन के लिए अभ्यार्थियों को स्वेच्छा से न्यूनतम 05 तथा अधिकतम 20 संस्थानों का चयन करना होगा। इसके लिए अभ्यार्थी को अपना पासपोर्ट साइज फ़ोटो, मैट्रिक का अंकपत्र/एडमिट कार्ड, आधार कार्ड के अलावे मोबाइल नंबर एवम अभ्यार्थी के ईमेल आईडी की आवश्यकता होगी। इसमें बोर्ड द्वारा तय किये गए शुल्क का भुगतान करना होगा। अभ्यार्थियों की सुविधा के लिए बिहार बोर्ड ने ओएफ़एसएस का मोबाइल एप्प भी लांच किया है।