[पटना] ~अनूप नारायण
बिहार दरोगा के मुख्य लिखित परीक्षा का परिणाम घोषित कर दिया गया है. अब छात्रों से बस एक कदम की दूरी पर मंजिल है. फिजिकल फिटनेस टेस्ट के बाद उनके शरीर पर वर्दी होगी. इस बीच एक नायक के तौर पर उभरे हैं महज ₹11 की गुरु दक्षिणा में छात्रों को दरोगा परीक्षा की तैयारी कराने वाले ऐम सिविल सर्विसेज और अदम्या अदिति गुरुकुल के संस्थापक डॉ. एम रहमान. जिनके गुरुकुल से पांच हजार के लगभग छात्रों ने मुख्य परीक्षा में सफलता प्राप्त की है.
परीक्षा परिणाम आने के बाद डॉ. रहमान ने बताया कि वह तो एक माध्यम हैं और छात्रों को एक उत्प्रेरक के तौर पर उनके अंदर छुपी हुई प्रतिभा को बाहर निकालते हैं. कठिन परिश्रम और सजगता से छात्रों ने सफलता प्राप्त की है. उन्होंने छात्रों को प्रेरित किया कि गरीबी का एकमात्र विकल्प सफलता ही हो सकती है और उनके इस अभियान में अदम्या अदिति गुरुकुल के निदेशक मुन्ना जी का योगदान काफी अहम रहा है. जिन्होंने दिन रात एक कर उनके इस अभियान को आंदोलन बनाया.
दरोगा प्रारंभिक परीक्षा से लेकर मुख्य परीक्षा तक उनके संस्थान में इतने छात्र आए की बैठने तक की जगह नहीं होती थी. छात्रों ने सीढ़ियों पर बैठकर टेस्ट दिया. क्लास रूम में बेंच कम पड़ गए थे तब भी छात्र कहीं जाने को तैयार नहीं हुए. नीचे फर्श पर बैठकर छात्रों ने तैयारी की. उन्होंने पूरी ईमानदारी से अपना फर्ज निभाया जिसका परिणाम आज मुख्य परीक्षा के रिजल्ट में उनके संस्थान से भारी तादाद में छात्रों के सफलता के रूप में सामने आया है.
बिहार दरोगा के मुख्य लिखित परीक्षा का परिणाम घोषित कर दिया गया है. अब छात्रों से बस एक कदम की दूरी पर मंजिल है. फिजिकल फिटनेस टेस्ट के बाद उनके शरीर पर वर्दी होगी. इस बीच एक नायक के तौर पर उभरे हैं महज ₹11 की गुरु दक्षिणा में छात्रों को दरोगा परीक्षा की तैयारी कराने वाले ऐम सिविल सर्विसेज और अदम्या अदिति गुरुकुल के संस्थापक डॉ. एम रहमान. जिनके गुरुकुल से पांच हजार के लगभग छात्रों ने मुख्य परीक्षा में सफलता प्राप्त की है.
परीक्षा परिणाम आने के बाद डॉ. रहमान ने बताया कि वह तो एक माध्यम हैं और छात्रों को एक उत्प्रेरक के तौर पर उनके अंदर छुपी हुई प्रतिभा को बाहर निकालते हैं. कठिन परिश्रम और सजगता से छात्रों ने सफलता प्राप्त की है. उन्होंने छात्रों को प्रेरित किया कि गरीबी का एकमात्र विकल्प सफलता ही हो सकती है और उनके इस अभियान में अदम्या अदिति गुरुकुल के निदेशक मुन्ना जी का योगदान काफी अहम रहा है. जिन्होंने दिन रात एक कर उनके इस अभियान को आंदोलन बनाया.
दरोगा प्रारंभिक परीक्षा से लेकर मुख्य परीक्षा तक उनके संस्थान में इतने छात्र आए की बैठने तक की जगह नहीं होती थी. छात्रों ने सीढ़ियों पर बैठकर टेस्ट दिया. क्लास रूम में बेंच कम पड़ गए थे तब भी छात्र कहीं जाने को तैयार नहीं हुए. नीचे फर्श पर बैठकर छात्रों ने तैयारी की. उन्होंने पूरी ईमानदारी से अपना फर्ज निभाया जिसका परिणाम आज मुख्य परीक्षा के रिजल्ट में उनके संस्थान से भारी तादाद में छात्रों के सफलता के रूप में सामने आया है.
सर्वविदित है कि पटना के नया टोला गोपाल मार्केट के प्रथम तल पर चलने वाले अदम्या अदिति गुरुकुल संस्थान में महज ₹11 में आर्थिक रुप से लाचार छात्रों को क्लर्क से लेकर कलेक्ट्रेट तक की तैयारी गुरु रहमान के निर्देशन में कराई जाती है. प्रतिवर्ष सैकड़ों की तादाद में छात्र सरकारी नौकरियों के लिए चयनित होते यूपीएससी, बीपीएससी एवं अन्य राज्य लोक सेवा आयोग की परीक्षाओं में भी संस्थान के छात्रों का जलवा रहता है.
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